नागरिकों के अंशदान से लडूंगा चुनाव , जीतकर चुकाऊंगा नमक का कर्ज — जेठूराम
■ प्रथम भूतपूर्व महापौर ने ठोंकी स्वतंत्र उम्मीदवारी , निशान- कांच का गिलास
रायगढ । शहर को नगर निगम की पहचान मिलने के बाद करीब दो दशक पहले प्रथम महापौर निर्वाचित हुए भूतपूर्व मेयर जेठूराम मनहर इस बार स्वतंत्र उम्मीदवार के तौर पर मैदान में हैं। कांग्रेस की टिकट पर तीन बार मेयर का इलेक्शन लड चुके जेठूराम मनहर ने शनिवार को प्रेस वार्ता कर अपना घोषणा पत्र जारी करते हुए अवसर मिलने पर विकसित रायगढ के अपने दो दशक पुराने सपने को पूरा करने का संकल्प दोहराया। साथ ही जेठू ने अपना चुनाव रायगढ के मतदाताओं से अंशदान एकत्र कर लडने का इरादा स्पष्ट किया ताकि रायगढ वासियों के नमक का असर उनके जेहन मे जिंदा रहे और महापौर चुने जाने के बाद मनहर उस कर्ज को पूरी शिद्दत से उतारने में जुट जाएं।



1 फरवरी को अपने सुपुत्र मयंक मनहर के साथ प्रेस वार्ता में निर्दलीय महापौर उम्मीदवार जेठूराम मनहर ने अपना घोषणा पत्र जारी किया । इस घोषणा पत्र में केलो नदी के उद्धार से लेकर शहरवासियों को बुनियादी सुविधाएं दिलाने , व्यवस्थित बाजार , बेहतर ट्रैफिक , आवास , पेंशन , सफाई , समेत ढेरों लोकलुभालन वादें शामिल किये गये हैं। जेठूराम ने अन्य उम्मीदवारो़ं की तुलना में स्वयं को शिक्षित , अनुभवी और नगर का सबसे सफल मेयर होने का दम भरा तथा मेयर निर्वाचित होने के बाद किसी भी दल की सरकार से रायगढ के हक के लिए जद्दोजहद करने की बात कही। पिछली नगर सरकारों द्वारा नागरिकों को सुविधा के नाम पर छलने और टैक्स का बोझ लादकर विकास मद का भ्रष्टाचार करने का आरोप लगाते हुए जेठूराम मनहर ने कहा कि उन्हे अलसर मिला तो वे नगर निगम का वाहन भी उपयोग में नहीं लाएगें और अपनी दुपहिया से पूरे शहर की जनता के सम्पर्क में रहेंगें। जेठूराम मनहर ने अपना मोबाईल नंबर सार्वजनिक करते हुए जनता के लिए हर वकृत उपलब्ध रहने की बात कही। चुनाव जीतकर पार्टी बदलने और राष्ट्रीय दलों के असंतुष्ट नेताओं का सहयोग मिलने के सवाल पर जेठूराम ने सधे लहजे में सभी दलों के नेताओं को नगर का मतदाता भी होने और व्यक्तिगत संबंधों का हवाला देकर दूसरा मोड दे दिया किंतु इतना जरुर कहा कि चाहे बीजेपी हो या कांग्रेस या कोई और दल ! सभी दलों के लोग महापौर की कुर्सी तक पहुंचने में उनके सहयोगी बनेगें। ज्ञात हो कि जेठूराम मनहर जहां निर्दलीय महापौर का चुनाव लड रहे वहीं उनके सुपुत्र मयंक मनहर अपने वार्ड से ही वर्तमान महापौर के पति के विरुद्ध पार्षद का चुनाव लड रहे हैं
.. इसलिए लिया कांच का गिलास
भूतपूर्व महापौर जेठूराम मनहर ने अपने चुनाव चिन्ह कांच के गिलास पर भी दिलचस्प बयान देते हुए कहा कि इस बार मौका मिलने पर उनका महापौर का कार्यकाल चुनाव निशान कांच के गिलास की मानिंद पारदर्शी और बेदाग रहेगा। उन्होने कहा कि वर्तमान समय में नगर निगम की जो शासन व प्रशासनिक व्यवस्था है उसमे तानाशाही की झलक स्पष्ट दिखती है और आर्थिक भ्रष्टाचार को छिपाने के लिए आम नागरिक का भयादोहन हो रहा है। उन्हे आवसर मिला तो निगम मे यह परंपरा बदलेगी और जनता को उनकी अपेक्षा के अनुरुप महापौर तथा शासन व्यवस्था मिलेगी।
चुकाऊंगा नमक का कर्ज
जेठूराम मनहर ने प्रेस वार्ता में ऐलान करते हुए कहा कि वे अपना चुनाव मतदाताओं से प्राप्त एच्छिक अंशदान की सहायता से लडेंगें। इसके लिए शहर भर में क्यूआर कोड शेयर किये जाएंगें ताकि इस अंशदान को जेठू चुनाव जीतने के बाद नमक के कर्ज के तौर पर याद रखें और पूरे पंचवर्षीय जनता के इस कर्ज का हिसाब चुकाने की कोशिश जारी रहे।